सड़कों पर ट्रैक्टर-ट्राली से होने वाली दुर्घटनाओं से ऐसे बचे
क्षमता से अधिक माल एवं लोगों के बैठने से ट्रेक्टर-ट्रॉलियों के पलटने की घटना बढ़ गई है। जिसका मुख्य कारण ट्रेक्टर-ट्रॉली का नियमों के विरद्ध संचालन होना है। इसके अतिरिक्त दुर्घटनाएं होने का एक बड़ा कारण खराब सड़क भी है। जिससे की इनका संतुलन बिगड़ता है और दुर्घटना हो जाती है। यदि चालक एवं नागरिक कुछ सावधानियां बरते तो दुर्घटना को होने से रोका जा सकता है।
चालक द्वारा बरतनी जाने वाली सावधानियां-
# नियमों के विरुद्ध ट्रेक्टर-ट्रॉली का संचालन न करे।
# इन्हें धीमी गति से चलना चाहिए एवं ओवर टेक करने से बचना चाहिए।
# रेत या बजरी को ले जाते समय इसे ढँक कर ले जाये जिससे की यह उड़कर अन्य वाहन चालकों की आँखों में न जाए। क्योंकि इनकी चुभन से आँखे बंद होती है और दुर्घटना होने की संभावना बढ़ जाती है।
# ट्रेक्टर शाम के समय उपयोग किया जाए तो उसकी दोनों हेडलाइट चालू रखनी चाहिए।
# दिन के समय में शहर के ज्यादा ट्रैफिक वाले क्षेत्रों में इन्हें चलाने से बचना चाहिए।
# असुरक्षित तरीके से ट्रैक्टर-ट्रॉलियों में सवारी नहीं बैठाए।
नागरिकों द्वारा बरतने योग्य सावधानियां-
# ट्रेक्टर-ट्रॉली में यात्रा नहीं करनी चाहिए। क्योंकि यह यात्रा के लिए सवारी गाड़ी नहीं है।
# ट्रेक्टर की ट्रॉली में ब्रेक लाइट और इंडिकेटर नहीं होता है इसलिए इससे उचित दुरी बनाकर चलना चाहिए।
# इन्हें ओवरटेक करते समय सावधानी रखे। पर्याप्त जगह न हो तो इन्हें ओवरटेक करने से बचे।
# ओवरलोड ट्रेक्टर-ट्रॉली हो तो उसकी शिकायत दर्ज कराए।
# जागरूक बने एवं यातायात के नियमों को समझे व इनका उल्लंघन करने वालों की शिकायत करे।
Very Nice.....
ReplyDeleteThank u
ReplyDeleteWell written
ReplyDeleteThank You So Much... 💐🙏
DeleteWell written
ReplyDeleteThank u ma'am
Deleteyes... agree...
ReplyDelete👍💐🙏
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ReplyDeleteThank U
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